Domain:पारंपरिक शिल्पकारिता
State: राजस्थान
Description:
वीडियो राजस्थानी कठपुतली कार्यशाला पर एक प्रस्तुति है जिसे उदयपुर में पश्चिम क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र (डब्ल्यू जेड सी सी) द्वारा आयोजित किया गया था। कार्यशाला का संचालन भारतीय लोक कला मंडल के सहायक निदेशक और कठपुतली विशेषज्ञ श्याम माली ने किया था। उन्होंने विभिन्न लकड़ियों की प्रकृति और गुणों तथा उनके कार्यों को बताया। उन्होंने कठपुतली बनाने की कक्षाओं का संचालन किया, जिसमें कठपुतली का खेल दिखाने वालों ने अच्छी मात्रा में भाग लिया। राजस्थानी कठपुतली की कला को कठपुतली कहा जाता है। यह शब्द हिंदी के शब्द 'कठ' जिसका अर्थ है लकड़ी और 'पुतली' जिसका अर्थ है गुड़िया, से बना है। यह कला शैली एक हजार से अधिक वर्षों से अस्तित्व में है। भारत में कठपुतली, कठपुतली का सबसे लोकप्रिय रूप है और धागा कठपुतली थियेटर का एक उत्कृष्ट उदाहरण है। कठपुतलियाँ एक धागे द्वारा नियंत्रित होती हैं जो कठपुतलियों के ऊपर से कठपुतली का खेल दिखाने वालों के हाथों तक फैला होता है। कठपुतलियाँ लगभग १.५ से २ फीट लंबी होती हैं।